हनीट्रैप में कितने ‘लक्ष्मीकांत’! नेताओं-अफसरों के लीक हो रहे VIDEO की SIT कर रही है जांच

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भोपाल. मध्य प्रदेश के बहुचर्चित हनी ट्रैप मामले (Honey trap case) में पूर्व मंत्री लक्ष्मीकांत शर्मा (Laxmikant Sharma) का सोशल मीडिया (Social Media) पर वीडियो वायरल (Video Viral) होने के बाद कई राजनेताओं के दिल की धड़कने बढ़ गई हैं. भारतीय जनता पार्टी (Bharatiya Janata Party) हो या फिर कांग्रेस (Congress) दोनों ही पार्टियों के कई नेताओं के हनी ट्रैप में फंसे होने की बातें सामने आ रही हैं. बता दें, लक्ष्मीकांत शर्मा का वीडियो मीडिया में आने के बाद अब कई सफेदपोशों की काली करतूत उजागर होने की चर्चा हो रही है.

इलेक्ट्रॉनिक डिवाइस में छुपी काली करतूत

हनी ट्रैप में लक्ष्मीकांत शर्मा जैसे कितने राजनेता फंसे हैं और किन-किन की सीडी बनी है या फिर किसे डर लग रहा है. यह सभी सवाल इसलिए भी उठ रहे हैं, क्योंकि हनीट्रैप की फाइल अभी पूरी तरह से ओपन भी नहीं हुई है और प्रदेश की राजनीति में भूचाल आ गया है. दरअसल, भोपाल की जिस आरोपी महिला से इंदौर पुलिस ने इलेक्ट्रॉनिक डिवाइस जब्‍त की थी, उनकी अभी तक फॉरेंसिंक जांच रिपोर्ट भी नहीं आई है और इससे पहले ही राजनेताओं और अफसरों के अश्लील वीडियो और ऑडियो वायरल हो रहे हैं. एसआईटी अब इस एंगल पर भी जांच कर रही है कि आखिरकार यह डाटा कहां से वायरल हो रहा है.

ये हैं हनी ट्रैप में फंसे?

>>हनी ट्रैप में 2 मौजूदा मंत्री के साथ 4 पूर्व मंत्री, 2 पूर्व सासंद, राष्ट्रीय स्तर के 2 बड़े नेता, 4 आईपीएस अफसर, 3 आईएएस अफसर, कई बिल्डर, कारोबारियों और रसूखदारों के फंसे होने की चर्चा है.

>>हनी ट्रैप के जाल में फंसकर राजनेताओं और नौकरशाहों ने आरोपी महिलाओं को आर्थिक फायदा भी पहुंचाने का काम किया है.
>>आरोपी महिलाएं कई नेताओं और अफसरों को ब्लैकमेल भी कर चुकी हैं.

कांग्रेस और भाजपा का दावा

कांग्रेस दावा कर रही है कि आगे भी कई चेहरे बेनकाब होंगे. प्रदेश कांग्रेस प्रवक्ता जेपी धनोपिया ने कहा कि लक्ष्मीकांत के बाद बीजेपी के दूसरे नेताओं के चेहरे भी सामने आएंगे. इस मामले में जो दोषी होगा उनके खिलाफ कार्रवाई भी होगी. जांच एजेंसी अपना काम कर रही है. जबकि प्रदेश बीजेपी प्रवक्ता रजनीश अग्रवाल ने कहा कि सरकार तमाम तरह की बातें कर माहौल बना रही है. इसे राजनीति माध्यम नहीं बनाना चाहिए. सवाल यह भी उठ रहा है कि क्या हनीट्रैप में फंसे दूसरे राजनेताओं और अफसरों को डराने के लिए कुछ लोगों के वीडियो, ऑडियो वायरल किए गए हैं. इन सभी सवालों के जबाव एसआईटी तलाश रही है.