केजरीवाल संभालते रह गए शिक्षा-स्वास्थ्य

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नई दिल्ली । दिल्ली में विधानसभा चुनाव से पहले भाजपा ने बड़ा सियासी दांव चल दिया है। मोदी कैबिनेट की बुधवार को हुई बैठक में अवैध कॉलोनियों को रेग्युलराइज करने के विधेयक को मंजूरी दे दी गई। अब ये विधेयक संसद के दोनों सदनों में मंजूरी के लिए जाएगा। अवैध कॉलोनियों को रेग्युलराइज करने की मांग कई सालों से उठ रही थी, जिसे पूरा करके भाजपा ने अपनी पहली सियासी चाल चल दी है, जिसका असर विधानसभा चुनाव पर पड़ेगा। मोदी कैबिनेट के इस फैसले से केजरीवाल सरकार की मुश्किलें बढ़ सकती हैं। दरअसल, आम आदमी पार्टी आगामी विधानसभा चुनाव शिक्षा और स्वास्थ्य के मसले पर लडऩा चाह रही है, जिसे लेकर उसने काफी काम किया। वह चाहे सरकारी स्कूलों को मॉर्डन बनाने का काम हो या फिर मोहल्ला क्लीनिक खोलना। आम आदमी पार्टी के नेता इन क्षेत्रों में किए अपने कामों पर ही फोकस करते हैं इसके साथ ही दिल्ली में 200 किलोवॉट तक बिजली भी मुफ्त कर दी गई, लेकिन चुनाव से दो महीने पहले भाजपा ने अवैध कॉलोनियों को रेग्युलराइज करने का फैसला करके लोगों को बड़ी राहत दे दी और दिल्ली के वोटर्स के लिए एक अहम मुद्दे पर बाजी मार ली।
मोदी ने की थी अवैध कॉलोनियों में रहने वालों से मुलाकात
इससे पहले पीएम नरेंद्र मोदी ने अपने आवास पर आरडब्ल्यूए ऑफिस होल्डर्स के साथ-साथ अनियमित कॉलोनियों में रहने वाले लोगों से मुलाकात की थी। इस मुलाकात के दौरान पीएम मोदी ने कहा था कि आप लंबे समय से एक अनिश्चितता के माहौल में रहे। कई सरकारों ने इस दिशा में काम किया, लेकिन आधे-अधूरे मन से। हमारी सरकार 2014 में आई, तब से हम दिल्ली में रहने वाले लोगों की मुश्किल का हल निकालने के लिए तरीके खोज रहे थे। 
अवैध कॉलोनी में रहने वाले लोगों को मिलेंगे ये फायदे
मोदी कैबिनेट ने अवैध कॉलोनियों को नियमित करने के विधेयक पर मुहर लगा दी। अब संसद में बिल पास होने के बाद कॉलोनियों में रहने वाले लोगों को उनकी जमीन का मालिकाना हक मिलेगा। इसके साथ ही सरकार ने दिल्ली भूमि सुधार अधिनियम की धारा 81 के सभी मामलों को वापस लेने के प्रस्ताव को मंजूरी दे दी। साथ ही 79 गांवों के शहरीकरण को भी ग्रीन सिग्नल दे दिया गया।