शिवसेना को समर्थन पर घंटों मंथन, कांग्रेस नहीं बना पाई मन

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महाराष्ट्र में सरकार बनाने और शिवसेना को समर्थन देने के सवाल पर कांग्रेस ने सोमवार सुबह से शाम तक मैराथन बैठकें कर विचार मंथन किया लेकिन देर शाम चार लाइन का एक बयान जारी कर कहा कि पार्टी ने अभी कोई फैसला नहीं लिया है। कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी एनसीपी नेता शरद पवार से इस संबंध में और बातचीत करेंगी। पार्टी ने अभी तक ये साफ नहीं किया है कि वे शिवसेना को समर्थन देने जा रही है या नहीं देगी।महाराष्ट्र के प्रभारी मल्लिकार्जुन खड़गे का कहना है कि कांग्रेस में अभी समर्थन पर विचार जारी है फैसला नहीं लिया है। महाराष्ट्र के पूर्व सीएम पृथ्वीराज च्वाहण ने कहा शिवसेना को समर्थन की चिट्ठी जारी के करने के संबंध में कहा कि अभी तो एनसीपी की ओर से भी कोई पत्र नहीं दिया गया है।

दूसरी ओर महाराष्ट्र कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष माणिकराव ठाकरे ने बताया कि एनसीपी से मंगलवार को मुंबई में बातचीत की जाएगी। कांग्रेस का प्रतिनिधि मंडल एनसीपी से बातचीत के लिए मुंबई जाएगा।

महाराष्ट्र में सरकार बनाने को लेकर कांग्रेस ने सुबह कार्यसमिति की बैठक बुलाई। दिल्ली में मौजूद करीब 28 नेता बैठक में शामिल हुए। बैठक में कई नेताओं की राय थी कि महाराष्ट्र में शिवसेना-एनसीपी को समर्थन देना चाहिए। जबकि वरिष्ठ नेता एके.एंटनी और महासचिव केसी.वेणुगोपाल कतई इस पक्ष में नहीं थे।

दरअसल केरल से आने वाले दोनों वरिष्ठ नेता शिवसेना के साथ जाने पर भविष्य के नुकसान को देख रहे हैं। कुछ नेताओं का तर्क था कि अभी कुछ राज्यों में चुनाव होने हैं कांग्रेस ने हमेशा शिवसेना से दूरी रखी है ऐसे में साथ जाने का नुकसान न उठाना पड़े। कुछ नेताओं की राय थी कि हमें न सिर्फ समर्थन देना चाहिए बल्कि सरकार में भी शामिल होना चाहिए।

 

समर्थन पर सर्वसम्मति न बनते देख बैठक में तय हुआ कि महाराष्ट्र के नेताओं और जीतकर आए विधायकों की राय भी जान लेनी चाहिए। इस पर एके.एंटनी ने कहा कि हमें अपना फैसला विधायकों पर थोपना नहीं चाहिए।

शाम को चार बजे एक बार फिर महाराष्ट्र के नेता सोनिया के आवास दस जनपथ पर जुटे। इसी बीच महाराष्ट्र से शिवसेना प्रमुख उद्धव ठाकरे के करीबी मिलिंद नारवेकर भी दिल्ली पहुंचे और उन्होंने अहमद पटेल से उनके आवास पर मुलाकात की। उनके साथ शिवसेना नेता अरविंद सांवत भी मौजूद थे। दरअसल पहले संजय राउत को दिल्ली आकर कांग्रेस नेताओं से मिलना था लेकिन वे अचानक बीमार हो गए।

दस जनपथ में शाम की बैठक में महाराष्ट्र से जुड़े सुशील कुमार शिंदे, बाला साहेब थोराट, गुजरात के प्रभारी महाराष्ट्र के नेता राजीव साटव,राजस्थान के प्रभारी अविनाश पांडेय, पूर्व सीएम अशोक च्वाहण, हिमाचल की प्रभारी रजनी पाटिल, माणिकराव ठाकरे पृथ्वी राज च्वाहण बैठक में शामिल हुए। जबकि अहमद पटेल, एके.एंटनी, केसी.वेणुगोपाल, मुकुल वासनिक भी पहुंचे।

करीब तीन घंटे के मंथन के दौरान सोनिया गांधी ने राजस्थान में मौजूद पार्टी के विधायकों से टेलीफोन पर बातचीत कर उनके विचार जाने। बताते हैं कि 44 विधायकों में करीब 37 ने पहले ही नेतृत्व को लिखकर दिया कि है हमें भाजपा को दूर रखने के लिए सरकार में शामिल होना चाहिए। सोनिया से बातचीत में भी विधायकों ने पार्टी नेतृत्व से न सिर्फ वैकल्पिक सरकार को समर्थन की बल्कि उसमें शामिल होने की मंशा भी जताई है।