भारत ने अमेरिका से 73,000 सिग सॉ (SiG Sauer) असॉल्ट राइफल्स का दूसरा ऑर्डर दिया। सिग सॉ ने यह जानकारी दी है। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक इस डील को भारत ने 837 करोड़ रुपए में साइन किया है।
इससे पहले फरवरी 2019 में फास्ट-ट्रैक खरीद के तहत भारत ने 647 करोड़ रुपए में 72,400 SiG-716 राइफल्स का ऑर्डर दिया था।
राइफल्स की दूसरी खरीद को दिसंबर 2023 में रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह की अगुआई में डिफेंस एक्विजिशन काउंसिल (DAC) ने मंजूरी दी थी। इसकी डिलीवरी के बाद भारतीय सेना के पास 1.45 लाख से ज्यादा SiG-716 असॉल्ट राइफल्स हो जाएंगी।
रूसी राइफल्स में देरी की वजह से भारत ने अमेरिका को ऑर्डर दिया था
2018-19 में राइफल्स की बढ़ती जरूरत के लिए भारत ने रूस से AK-203 राइफल्स का ऑर्डर दिया था, लेकिन इनके मिलने में देरी के चलते भारत ने फरवरी 2019 में अमेरिकी फर्म सिग सॉ से डील की थी। पहले लॉट में आईं 72,400 राइफल्स से सेना को 66,400, एयरफोर्स को 4,000 और नेवी को 2,000 राइफल्स दी गई थीं। ये धीरे-धीरे इनसास राइफल की जगह लेंगी।
जुलाई 2024 में 35 हजार कलाश्निकोव राइफल्स की डिलीवरी मिली
भारत AK-203 कलाश्निकोव राइफल्स को रूस की मदद से अमेठी के इंडो-रूस राइफल्स प्राइवेट लिमिटेड में बना रहा है। इसमें 35,000 AK-203 कलाश्निकोव असॉल्ट राइफल्स की पेंडिंग डिलीवरी जुलाई 2024 में कर दी गई है। समझौते के तहत 10 साल में 6 लाख AK-203 राइफल्स बनाई जानी हैं।
AK-203 प्रोजेक्ट की घोषणा 2018 में की गई थी, लेकिन लागत, रॉयल्टी, टेक्नोलॉजी ट्रांसफर जैसी वजहों से प्रोजेक्ट में देरी हुई।